Budget 2024 Cheaper Costlier | Sasta Mehnga Complete Items List Updated | सस्ता और महंगा- मोबाइल फोन सस्ते होंगे: सोना-चांदी पर भी ड्यूटी घटाई; एक साल में 300 रुपए घटे सिलेंडर के दाम


नई दिल्ली1 मिनट पहले

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अब बजट में गिनी-चुनी चीजें ही सस्ती या महंगी होती हैं। सरकार ने 1 जुलाई 2017 को देशभर में GST लागू किया था, जिसके बाद से बजट में केवल कस्टम और एक्साइज ड्यूटी बढ़ाई-घटाई जाती है। ड्यूटी के बढ़ने और घटने का का इनडायरेक्ट असर चीजों की कीमतों पर पड़ता है।

प्रोडक्ट सस्ता वजह
फोन 15% मोबाइल फोन पार्ट्स पर कस्टम ड्यूटी घटी
सोना-चांदी 6% सोना-चांदी पर कस्टम ड्यूटी घटी
कैंसर की दवाएं कैंसर की दवाओं से ड्यूटी हटाई
इलेक्ट्रॉनिक सामान इलेक्ट्रॉनिक सामानों पर ड्यूटी घटाई

एक साल में सिलेंडर 300 रुपए सस्ता, सोना-चांदी 13,000 रुपए महंगे
बीते एक साल में सोना-चांदी 13,000 रुपए महंगे हुए है। घरेलू गैस सिलेंडर के दाम 300 रुपए घटे हैं। इस दौरान तुअर दाल करीब 30 रुपए प्रति किलो महंगी हुई है। सोयाबीन तेल, आटा और चावल के दामों में ज्यादा बदलाव नहीं आया है। नीचे 7 ग्राफिक्स में बीते एक साल क्या हुआ सस्ता क्या महंगा…

बजट में इनडायरेक्ट टैक्स के बढ़ने-घटने से सस्ते-महंगे होते प्रोडक्ट
प्रोडक्ट के सस्ते और महंगे होने को समझने के लिए सबसे पहले टैक्सेशन सिस्टम समझना होगा। टैक्सेशन को डायरेक्ट टैक्स और इनडायरेक्ट टैक्स में बांटा गया है:

1. डायरेक्ट टैक्स: इसे लोगों की आय या मुनाफे पर लगाया जाता है। इनकम टैक्स, पर्सनल प्रॉपर्टी टैक्स जैसे टैक्स इसमें आते हैं। डायरेक्ट टैक्स का बोझ वह व्यक्ति ही वहन करता है जिस पर टैक्स लगाया गया है और इसे किसी और को पास नहीं किया जा सकता है। सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेज (CBDT) इसे गवर्न करती है।

2. इनडायरेक्ट टैक्स: इसे वस्तुओं और सेवाओं पर लगाया जाता है। कस्टम ड्यूटी, एक्साइज ड्यूटी, GST, VAT, सर्विस टैक्स जैसे टैक्स इसमें आते हैं। इनडायरेक्ट टैक्स को एक व्यक्ति से दूसरे को शिफ्ट किया जा सकता है।

जैसे होलसेलर इसे रिटेलर्स को पास करता है, जो इसे ग्राहकों को पास कर देते हैं। यानी, इसका असर अंत में ग्राहकों पर ही पड़ता है। इस टैक्स को सेंट्रल बोर्ड ऑफ इनडायरेक्ट टैक्सेज एंड कस्टम्स (CBIC) गवर्न करती है।

GST के दायरे में 90% प्रोडक्ट, इससे जुड़े फैसले GST काउंसिल लेती है
2017 के बाद लगभग 90% प्रोडक्ट्स की कीमत GST पर निर्भर करती है। GST से जुड़े सभी फैसले GST काउंसिल लेती है। इसलिए बजट में इन प्रोडक्ट्स की कीमतों में कोई बदलाव नहीं होता है।



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