Truecaller ऐप पर पेमेंट करने वाले ग्राहक नए फीचर सर्च करने के लिए सेटिंग्स> ब्लॉक पर जा सकते हैं। पहले यह सेटिंग यूजर्स को चुनने के लिए दो टैब – ऑफ और बेसिक की पेशकश करती थी। जब ऑफ पर सेट किया जाता है तो स्पैम कॉलर्स की पहचान की जाती है, लेकिन उन्हें ब्लॉक नहीं किया जाता है और बेसिक मोड में ऐप ऑटोमैटिक तौर पर उन नंबरों से कॉल को ब्लॉक कर देता है, जिनकी बड़े स्तर पर स्पैमर के तौर पर रिपोर्ट की गई है। अब मैक्स लेबल वाला एक नया टैब है।
मैक्स का चयन करने पर ऐप ऑटोमैटिक तौर पर सभी स्पैमर्स की कॉल को ब्लॉक कर देगा। यह सेटिंग एक चेतावनी भी देती है कि यह कुछ वैध बिजनेस की कॉल को ब्लॉक कर सकती है। टेकक्रंच के साथ बातचीत में ट्रूकॉलर में सर्च के प्रेसिडेंट कुनाल दुआ ने बताया कि कंपनी ने स्पैम नंबर की पहचान करने के लिए कई मार्केट में कई दर्जन एल्गोरिदम की टेस्टिंग की और फिचर फीचर को लागू करने के लिए अपने AI सिस्टम का इस्तेमाल किया। कंपनी ने यह भी कहा कि उसने फीचर में सुधार करने के लिए यूजर्स का फीडबैक लिया है और वह ऐसा आगे ऐसा करता रहेगा।
हालांकि, इस फीचर में एक चेतावनी है कि यूजर्स कुछ वैध कॉल्स से अछूते रह सकते हैं और कंपनी यूजर्स का फीडबेक लेने का वादा करती है, कंपनी ने स्पैम कॉल की पहचान करने की अपनी मैथड का खुलासा नहीं किया है। यूजर्स के पास कॉल को स्पैम के तौर पर रिपोर्ट करने का ऑप्शन होता है, लेकिन यह साफ नहीं है कि ट्रूकॉलर ऐसे नंबरों की पहचान करने के लिए अन्य तरीकों का इस्तेमाल करता है या नहीं।
AI-पावर्ड मैक्स स्पैम ब्लॉकिंग फीचर सिर्फ ट्रूकॉलर के एंड्रॉइड ऐप पर उपलब्ध है, क्योंकि iOS कॉलर आईडी ऐप्स को स्पैमर स्टेटस को ट्रैक करने या उन नंबर को ऑटोमैटिक तौर पर ब्लॉक करने की सुविधा नहीं देता है। हालांकि, इसे एक्सेस करने के लिए यूजर्स को ट्रूकॉलर के प्रीमियम प्लान की मेंबरशिप लेनी होगी। भारत में मेंबरशिप 75 रुपये की मंथली प्लान और 529 रुपये सालाना प्लान पर उपलब्ध है।
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