ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जुलाई में शुक्र देव उदय हो जाएंगे, जिसके कारण फिर से शादियों का सिलसिला शुरू हो जाएगा।
By Ekta Sharma
Publish Date: Sun, 09 Jun 2024 10:25:43 AM (IST)
Updated Date: Sun, 09 Jun 2024 10:51:14 AM (IST)
HighLights
- चातुर्मास के दौरान कोई भी शुभ आयोजन नहीं होंगे।
- एकादशी के बाद चार महीने के लिए मांगलिक कार्य बंद हो जाएंगे
- जुलाई महीने में भी शादी के लिए काफी कम मुहूर्त है।
धर्म डेस्क, इंदौर। July Shadi Muhurat 2024: जून माह में किसी भी तरह के शादी-ब्याह कार्यक्रम नहीं हो रहे हैं। शुक्र के अस्त होने के कारण कोई भी शुभ मुहूर्त नहीं है। अब इसके लिए एक महीने का इंतजार करना होगा। जुलाई महीने में भी शादी के लिए काफी कम मुहूर्त है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जुलाई में शुक्र देव उदय हो जाएंगे, जिसके कारण फिर से शादियों का सिलसिला शुरू हो जाएगा। लेकिन 17 जुलाई को फिर से हरिशयन एकादशी के बाद चार महीने के लिए मांगलिक कार्य बंद हो जाएंगे। इसके बाद शादी के लिए मुहूर्त नहीं है।
विवाह के लिए शुभ लग्न मुहूर्त
मिथिला पंचांग के अनुसार – जुलाई : 10, 11, 12
बनारसी पंचांग के अनुसार – जुलाई : 9, 10, 11, 12, 13, 14, 15
नवंबर: 16, 17, 22, 23, 24, 25, 26, 28, 29
दिसंबर: 2, 3, 4, 5, 9, 10, 11, 14, 15
इन नक्षत्रों और माह का होना आवश्यक
यदि विवाह माघ, फाल्गुन, वैशाख, ज्येष्ठ, आषाढ़ और अगहन माह में हो, तो बहुत शुभ माने जाते हैं। मिथिला पंचांग के अनुसार, जुलाई में 3 और बनारस पंचांग के अनुसार, 7 शुभ दिन हैं। इस दौरान मांगलिक कार्य किए जा सकते हैं। चातुर्मास के दौरान कोई भी शुभ आयोजन नहीं होंगे। विवाह के लिए शुभ लग्न और मुहूर्त तय करने के लिए आपके पास वृषभ, मिथुन, कन्या, तुला, धनु और मीन लग्न में से किसी एक का होना आवश्यक है।
नक्षत्रों में से आपके पास अश्विनी, रेवती, रोहिणी, मृगशिरा, मूल, मघा, चित्रा, स्वाति, श्रवण, हस्त, अनुराधा, उत्तरा फाल्गुन, उत्तरा भाद्र और उत्तरा आषाढ़ में से कोई एक होना चाहिए। सर्वोत्तम मुहूर्त के लिए रोहिणी, मृगशिरा या हस्त नक्षत्र में से किसी एक का होना जरूरी है।
डिसक्लेमर
‘इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।’