गट हेल्थ के लिए योगासन,- Gut health ke liye yogasan


अनहेल्दी इटिंग हैबिट्स को फॉलो करने से आंत में बैड बैक्टीरिया की मात्रा बढ़ने लगती है, जिससे गट हेल्थ को नुकसान पहुंचता है। दिन की शुरूआत योगाभ्यास से करने से शरीर में एनर्जी के अलावा पाचनतंत्र संतुलित होने लगता है।

लगातार घंटों काम में मसरूफ रहने से कई शारीरिक समस्याओं का जोखिम बढ़ जाता है। इन्हीं में से एक है इनडाइजेशन। देर तक बैठना और अनहेल्दी इटिंग हैबिट्स को फॉलो करने से आंत में बैड बैक्टीरिया की मात्रा बढ़ने लगती है, जिससे गट हेल्थ को नुकसान पहुचता है। इसके चलते अधिकतर लोगों को ब्लोटिंग, अपच, कब्ज और ऐंठन का सामना करना पड़ता है। साथ ही एसिडिटी की समस्या भी बनी रहती है। लंबे वक्त तक काम करने से व्यक्ति के शरीर में निर्जली करण की समस्या बनी रहती है, जिससे पाचनतंत्र असंतुलित होने लगता है। ऐसे में दवाओं के सेवन के अलावा लाइफस्टाइल में कुछ बदलाव मददगार साबित हो सकते है। दिन की शुरूआत योगाभ्यास से करने से शरीर में एनर्जी के अलावा पेट की मांसपेशियों को भी मज़बूती मिलती है। जानते हैं किन योगासनों के माध्यम से गट हेल्थ को बूस्ट (Yoga for gut health) किया जा सकता है।

योग से कैसे गट हेल्थ को मिलता है फायदा (How yoga poses affect gut health)

नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ की रिपोर्ट के अनुसार 208 लोगों पर एक रिसर्च की गई। इसमें पाया गया कि इरिटेबल बॉवल सिंड्रोम से परेशान इन लोगों ने 12 सप्ताह तक लगातार योगाभ्यास किया, जिसके बाद इनमें आईबीएस के लक्षणों में कमी देखने को मिली। साथ ही तनाव और अनिद्रा की समस्या भी हल हो गई।

योग एक्सपर्ट गरिमा भाटिया बताती हैं कि योगासनों का नियमित अभ्यास करने से शरीर में ब्लड का सर्कुलेशन बढ़ने लगता है। इससे पाचन संबधी विकारों से राहत मिलती है और वेट मैनेजमेंट में भी मददगार साबित होता है। पेअ की मांसपेशियों में खिंचाव आने से पाचनतंत्र को मज़बूती मिलती है, जिससे मेटाबॉलिज्म बूस्ट होता है और आंतों में हेल्दी बैक्टीरिया की ग्रोथ में मदद मिलती है। दिन में दो बार 15 से 20 मिनट के लिए योग करने से शरीर को कई फायदे मिलते हैं।

इन योगासनों से करें गट हेल्थ को बूस्ट (Yoga poses to boost gut health)

1. अर्ध मत्‍स्‍येंद्रासन (Seated twist pose)

अर्ध मत्‍स्‍येंद्रासन को एब्डॉमिनल ट्विस्ट कहा जाता है। इसे करने से इंटरनल ऑर्गन्स की मज़बूती बढ़ती है, जिससे पाचनतंत्र भी मज़बूत बनता है। इस योगासन से शरीर में खिंचाव बढ़ता है, जिससे गट हेल्थ को फायदा मिलता है।

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जानें अर्ध मत्‍स्‍येंद्रासन को करने की टिप्स

  • इस योगासन को करने के लिए मैट पर सीधे बैठ जाएं और रीढ़ की हड्डी को सीखा कर लें। अब दोनों टांगों को घुटनों से मोड़ें।
  • अब बाहिनी टांग को घुटने से मोड़कर जमीन पर रखें और दाहिनी टांग को बाई टांग के उपर से लेकर आएं और पैर को बाएं घुटने के पास रखें।
  • अब बाएं हाथ से दाएं पैर को पकड़ लें और दाएं हाथ से बाहिने पैर की उंगलियां को छुएं।
  • शरीर की क्षमता के मुताबिक इस योगासन को करने का प्रयास करें। उसकेब बाद शरीर को ढ़ीला छोड़ दें।
Ardh matsyendra aasan se gut health ko rakhein majboot
पाचन संबधी समस्याएं दूर होती हैं और आंत के स्वास्थ्य को उत्तम बनाए रखने में मदद मिलती है। चित्र- अडोबी स्टॉक

2. भुजंगासन (Cobra pose)

कब्ज और अपच से परेशान होने पर भुजंगासन का अभ्यास करें। इससे पेट की मांसपेशियों को मज़बूती मिलती है और शरीर में लचीलापन बना रहता है। नियमित रूप से इस मुद्रा का अभ्यास करने से पेट को कई समस्याओं से बचाया जा सकता है।

जानें भुजंगासन करने की विधि

  • इस योगासन को करने के लिए मैट पर लेट जाएं और पीठ को एक दमसीधा कर लें। साथ ही दोनों टांगों के मध्य गैप बनाकर रखें।
  • अब दोनों हाथों को कंधों के पास रख लें और शरीर के उपरी हिस्से को उपर की ओर खीचें। बाजूओं को सीधा करते हुए गर्दन पीछे लेकर जाएं।
  • इस दौरान गहरी सांस लें और फिर छोड़ें। 30 सेकण्ड तक इसी मुद्रा में रहने के बाद शरीर को वापिस उसी प्रकार आगे लेकर आएं।
  • शरीर को कुछ देर के लिए ढ़ीला छोड़ दें और दिमाग को रिलैक्स होने दें। इससे गट हेल्थ मज़बूत होती है।
ये एक ऐसा योगासन है, जिसमें पेट और टांगों की मांसपेशियों में खिंचाव का अनुभव होता है। चित्र : अडोबी स्टॉक

3. धनुरासन (Bow pose)

धनुरासन से पेट के अंगों पर दबाव महसूस होता है, जिससे पाचन प्रक्रिया उत्तेजित हो जाती है और कब्ज से राहत मिलती है। पेट की मांसपेशियों की सक्रियता से आंत के स्वास्थ्य को फायदा मिलता है और गट हेल्थ बूस्ट होती है।

जानें धनुरासन करने के स्टेप्स

  • इस योगासन को करने के लिए पेट के बल मैट पर लेट जाएं ओर कमर को एकदम सीधा रखें। अब पैरों में दूरी बना लें।
  • दोनों टांगों को घुटनों से मोड़ ते हुए उपर की ओर लेकर आएं। अब बाजूओं को उपर उठाए और दोनों हाथों से पैरों को पकड़ लें।
  • इसके बाद चेहरे को सामने की ओर रखें और गहरी सांस लें और छोड़ें। शरीर की क्षमता के अनुसार इस योगासन का अभ्यास करें।
  • धीरे धीरे शरीर को सामान्य मुद्रा में लेकर आएं और थकान को दूर करें।
धनुरासन (Bow pose) को करने के दौरान शरीर की स्थिति धनुष के समान हो जाती है। इससे मांसपेशियों में खिंचाव आता है। चित्र अडोबी स्टॉक

4. सेतुबंधासन (Bridge pose)

पेट के मसल्स को स्ट्रेच करने में मददगार इस योग मुद्रा से डाइजेशन बूस्ट होता है और एसिडिटी को भी कम किया जा सकता है। वे लोग जो ब्लोटिंग से परेशान हैं, उन्हें सुबह उठकर इसका अभ्यास अवश्य करना चाहिए।

जानें सेतुबंधासन करने के स्टेप्स

  • इस योगासन को करने के लिए पीठ के बल मैट पर लेट जाएं। अब कमर सीधे कर लें और दोनों पैरों को आपस में जोड़कर रखें।
  • इसके बाद दोनों टांगों को घुटनों से मोड़ते हुए शरीर के उपर हिस्से को उंचा उठाएं और कंधों व गर्दन को ज़मीन पर लगाकर रखें।
  • दोनों बाजूओं को सीधा रखें और कमर से नीचे की ओर लेकर जाते हुए दोनों हाथों की उंगलियों को आपस में पकड़ लें।
  • अब गहरी सांस लें और फिर छोड़ें। 30 सेकण्ड से 1 मिनट तक इस योगासन का अभ्यास करें।



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