• Whatsapp
  • Phone
  • Bareilly News
  • Bareilly Business
  • Register
  • Login
  • Add Post
ADVERTISEMENT
Home बरेली न्यूज़

Ganesh Chaturthi Sthapana Vrat Niyam: आज है गणेश चतुर्थी, नोट कर लें शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री, मंत्र और आरती

bareillyonline.com by bareillyonline.com
7 September 2024
in बरेली न्यूज़
4 0
0
Ganesh Chaturthi Sthapana Vrat Niyam: आज है गणेश चतुर्थी, नोट कर लें शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री, मंत्र और आरती
6
SHARES
35
VIEWS
WhatsappFacebookTwitterThreads

[ad_1]

Ganesh Chaturthi 2024 Subh Muhurat: भाद्रपद मास के शुक्ल की चतुर्थी से गणेश चतुर्थी का शुभारंभ होता है। गणेश चतुर्थी के दिन घर, मंदिरों से लेकर पंड़ालों में भगवान गणपति की प्रतिमा स्थापित की जाती है। उनकी विधिवत पूजा की जाती है।

By Kushagra Valuskar

अपना शहर Bareilly Online

Rahasia Pemain Pro: Bagaimana Memanfaatkan Posisi di MAUPOKER

Cara Seru Main SLOT DANA di Situs KLIKWIN88 Biar Bisa Gaspol Jackpot Besar!

Sudah Coba Slot Terbaru dengan RTP Tertinggi di KLIKWIN88? Yuk, Login dan Buktikan Sendiri!

Publish Date: Fri, 06 Sep 2024 11:30:00 PM (IST)

Updated Date: Sat, 07 Sep 2024 12:40:35 AM (IST)

Ganesh Chaturthi Sthapana Vrat Niyam: आज है गणेश चतुर्थी, नोट कर लें शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री, मंत्र और आरती
शुभ मुहूर्त में करें गणेश जी की मूर्ति की स्थापना।- फोटो प्रतीकात्मक।

HighLights

  1. गणेश चतुर्थी का उत्सव देशभर में धूमधाम से मनाया जाता है।
  2. गणेश चतुर्थी पर विधि-विधान से मूर्ति की स्थापना करनी चाहिए।
  3. हर साल भाद्रपद महीने में गणेश चतुर्थी का पर्व मनाया जाता है।

धर्म डेस्क, इंदौर। Ganesh Chaturthi 2024 Subh Muhurat: सनातन धर्म में गणेश चतुर्थी का पर्व बहुत महत्व रखता है। यह त्योहार हर साल भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी को मनाया जाता है। इस बार विनायक चतुर्थी का पावन पर्व 7 सितंबर, शनिवार को है। दस दिन तक चलने वाले गणेश उत्सव अनंत चतुर्दशी के दिन समाप्त होता है।

इंदौर के ज्योतिषाचार्य पंडित गिरीश व्यास ने बताया कि इस बार गणेश चतुर्थी के अवसर पर रवि योग सुबह 6.02 मिनट से बन रहा है। इस शुभ योग में पूजा करने से सभी प्रकार के पाप मिट जाते हैं। वहीं, सर्वार्थ सिद्धि योग दोपहर 12 बजकर 34 मिनट से बनेगा।

आइए ज्योतिषाचार्य गिरीश व्यास से जानते हैं गणेश चतुर्थी पर मूर्ति स्थापना का शुभ मुहूर्त, पूजन सामग्री, कथा, मंत्र और आरती।

गणेश चतुर्थी 2024 शुभ मुहूर्त

  • शुभ- प्रातः 7.45 से 9.18 तक
  • शुक्र होरा- प्रातः 10.20 से 11.23 तक
  • अभिजित- प्रातः 11.23 से 12.25 तक
  • चर- दोपहर 12.25 से 1.58 तक
  • लाभ- दोपहर 1.58 से 3.31 तक
  • अमृत- दोपहर 3.31 से 5.04 तक
  • लाभ- शाम 6.37 से 8.04 तक

मूर्ति स्थापना के लिए आवश्यक पूजा सामग्री

  • भगवान गणेश को विराजित करने के लिए चौरंगा या पाटा और रखने के लिए वस्त्र।
  • पूजा के लिए आवश्यक सामग्री हैं निरंजन, धूप, समई, कपूर और आरती की थाली।
  • पांच मौसमी फल, सुपारी, नारियल, पान के पत्ते, सूखा नारियल, गुड़ और सिक्के।
  • पूजा स्थल पर मूर्ति के सामने रखने के लिए जल से भरा कलश और आम के पत्ते।
  • गणेश की मूर्ति को सजाने के लिए लाल फूल और दूर्वा का उपयोग किया जाता है।
  • अभिषेक के लिए पंचामृत, सुगंधित जल, शुद्ध जल, अष्टगंध, हल्दी, कुंकुम और अक्षत।

गणेश चतुर्थी व्रत और पूजन विधि

गणेश चतुर्थी के दिन सुबह जल्दी उठकर भगवान गणेश का ध्यान करें। इसके बाद घर की साफ-सफाई करें। गणपति की मूर्ति स्थापना के लिए मंडप सजाएं। इसके लिए पुष्प, रंगोली और दीपक का इस्तेमाल करें।

इसके बाद कलश में गंगाजल, रोली, अक्षत, कुछ सिक्के और एक आम का पत्ता डालकर मंडप में रखें। अब एक चौकी में साफ कपड़ा बिछाएं और लंबोदर की मूर्ति स्थापित करें। मूर्ति स्थापना के बाद तीन बार आचमन करें।

इसके बाद पंचामृत से स्नान कराएं। फिर घी का दीपक जलाएं। साथ ही भगवान गणेश को वस्त्र, जनेऊ, चंदन, सुपारी, फल और फूल अर्पित करें। 21 दूर्वा चढ़ाएं और उनके प्रिय मोदक का भोग लगाएं। आखिरी में सभी लोग गणेश जी की आरती करें।

भगवान गणेश से जुड़ी कथाएं

एक बार माता पार्वती स्नान करने के लिए जा रही थीं। उन्होंने अपने शरीर के मैल से एक पुतला निर्मित किया और उसमें प्राण फूंक दिए। फिर उसे घर की रक्षा के लिए द्वारपाल नियुक्त किया। ये द्वारपाल गजानन थे। गृह में प्रवेश के लिए उन्होंने भगवान शिवजी को रोक दिया।

नारज होकर महादेव ने उनका मस्तक काट दिया। जब पार्वती जी को इसका पता चला तो वह काफी दुखी हो गईं। उन्हें प्रसन्न करने के लिए शिवजी ने गज का सर काटकर भगवान गणेश के धड़ पर जोड़ दिया। गज का सिर जुड़ने से उनका नाम गजानन पड़ गया।

इन मंत्रों के जाप से भगवान गणेश होंगे प्रसन्न

1. वक्रतुंड महाकाय सूर्यकोटि समप्रथ। निर्विघ्नं कुरुमे देव सर्वकार्येषु सर्वदा।।

2. विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लंबोदराय सकलाय जगद्धितायं। नागाननाथ श्रुतियज्ञविभूषिताय गौरीसुताय गणनाथ नमो नमस्ते।।

3. अमेयाय च हेरंब परशुधारकाय ते। मूषक वाहनायैव विश्वेशाय नमो नमः।।

4. एकदंताय विद्महे, वक्रतुंडाय धीमहि, तन्नो दंती प्रचोदयात।।

5. ओम श्रीं गं सौभाग्य गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।।

भगवान गणेश जी की आरती

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा।।

एक दंत दयावंत,चार भुजा धारी।

माथे सिंदूर सोहे, मूसे की सवारी।।

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा।।

पान चढ़े फल चढ़े,और चढ़े मेवा।

लड्डुअन का भोग लगे, संत करें सेवा।।

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा।।

अंधन को आंख देत, कोढ़िन को काया।

बांझन को पुत्र देत, निर्धन को माया।।

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा।।

सूर श्याम शरण आए, सफल कीजे सेवा।

माता जाकी पार्वती,पिता महादेवा।।

दीनन की लाज रखो, शंभु सुतकारी।

कामना को पूर्ण करो,जाऊं बलिहारी।।

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती, पिता महादेवा।।

डिसक्लेमर

‘इस लेख में दी गई जानकारी/सामग्री/गणना की प्रामाणिकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। सूचना के विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/धार्मिक मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संकलित करके यह सूचना आप तक प्रेषित की गई हैं। हमारा उद्देश्य सिर्फ सूचना पहुंचाना है, पाठक या उपयोगकर्ता इसे सिर्फ सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी तरह से उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता या पाठक की ही होगी।’

[ad_2]

Source link

Categories

  • बरेली न्यूज़
  • बरेली बिज़नेस
  • बरेली ब्लॉग
edit post

Rahasia Pemain Pro: Bagaimana Memanfaatkan Posisi di MAUPOKER

21 September 2025
edit post

Cara Seru Main SLOT DANA di Situs KLIKWIN88 Biar Bisa Gaspol Jackpot Besar!

21 September 2025
edit post

Sudah Coba Slot Terbaru dengan RTP Tertinggi di KLIKWIN88? Yuk, Login dan Buktikan Sendiri!

21 September 2025

UPLOAD

LOGIN

REGISTER

HELPLINE

No Result
View All Result
  • बरेली न्यूज़
  • बरेली ब्लॉग
  • बरेली बिज़नेस
  • Contact

© 2025 Bareilly Online bareillyonline.