तेलुगु बिग बॉस फेम और फिल्म मेकर सूर्य किरण का निधन हो गया है। वह महज 5 साल के थे। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो सूर्य किरण जॉन्डिस (पीलिया) से जूझ रहे थे। कुछ वक्त पहले ही सूर्य किरण को जॉन्डिस की शिकायत होने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन इलाज के दौरान ही उनकी मौत हो गई। जॉन्डिस जैसी मामूली बीमारी से फिल्म मेकर की मौत हर कोई जानना चाहता है कि आखिरकार पीलिया कैसे और कब जानलेवा हो जाता है। इसके बारे में जानने के लिए हमने नॉर्थ ईस्ट दिल्ली के डिस्ट्रिक्ट इम्यूनाइजेशन ऑफिसर डॉ. पीयूष मिश्रा से बात की।
पीलिया क्या है?
डॉ. पीयूष मिश्रा का कहना है पीलिया जैसी बीमारी आमतौर पर बच्चों में देखी जाती है, लेकिन कई कारणों से व्यस्क में भी इस बीमारी से अछूते नहीं है। जब खून में बिलीरुबिन की मात्रा बढ़ जाती है तब शरीर पीला पड़ने लगता है और पीलिया होने का खतरा रहता है। आमतौर पर जब किन्ही कारणों से शरीर की लाल रक्त कोशिकाएं टूट जाती हैं तब शरीर बिलीरुबिन का निर्माण करता है। बिलीरुबिन लिवर से फिल्टर होकर यूरीन के रास्ते बाहर नहीं आ पाता है, तब पीलिया (Piliya in hindi) जैसी बीमारी होती है। अगर किसी व्यक्ति को पीलिया हो जाता है और उसका समय पर इलाज नहीं होता है, तो उसे सेप्सिस हो सकता है। कुछ मामलों में लिवर फेलियर की स्थिति हो जाती है और व्यक्ति की मौत का खतरा रहता है।
डॉक्टर का कहना है कि अगर नवजात शिशु या छोटे बच्चों को पीलिया जैसी बीमारी हो जाए तो इसे फोटोथेरेपी या ब्लड चढ़ाकर ठीक किया जा सकता है। वहीं, वयस्कों में पीलिया का इलाज दूसरे तरीके से किया जाता है।
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पीलिया के लक्षण क्या हैं? – Jaundice Symptoms in Hindi
चेहरे का रंग उड़ जाना, आंखों का पीला पड़ना और शरीर में खून की कमी होना पीलिया का मुख्य लक्षण है। हालांकि इसके कुछ ऐसे लक्षण भी हैं, जिससे बीमारी को पहचाना जा सकता है। पेट में दर्द होना, बुखार आ जाना, कमजोरी आ जाना, थकान महसूस करना, भूख की कमी होना, वजन में कमी होना, सिर दर्द होना, शरीर में जलन का महसूस करना, खुजली महसूस करना, उल्टी आना आदि पीलिया के लक्षण हैं।
पीलिया कब बन जाता है जानलेवा?
डॉक्टर का कहना है कि वयस्कों में पीलिया जैसी सामान्य बीमारी जानलेवा लिवर की वजह से हो सकती है। दरअसल, जब किसी व्यक्ति को फैटी लिवर और लिवर सिरोसिस होता है तो पीलिया होने का रिस्क हाई रहता है। इस स्थिति में पित्त की आर्टरीज ब्लॉक हो जाती हैं और पीलिया जैसा रोग जानलेवा सकता है। हेल्थ एक्सपर्ट का कहना है कि अगर किसी व्यक्ति को फैटी लिवर या लिवर से संबंधित कोई बीमारी है, तो उसे अपने डॉक्टर से पीलिया के बारे में भी बात जरूर करनी चाहिए। साथ ही, जिन लोगों को किडनी स्टोन की प्रॉब्लम हैं उन्हें भी डॉक्टरी सलाह पर ध्यान देना चाहिए।
पीलिया की जांच कैसे की जाती है?- How is jaundice diagnosis in Hindi
पीलिया की जांच के कई तरीके हैं। अगर किसी नवजात शिशु को पीलिया है तो उसकी जांच डॉक्टर अलग तरीके से करते हैं। वहीं, वयस्कों में पीलिया की जांच निम्नलिखित तरीके से की जाती है।
हेपेटाइटिस ए, बी और सी की जांच
अल्ट्रासाउंड बिलीरुबिन टेस्ट
कम्प्लीट ब्लड काउंट टेस्ट
एमआरआई स्कैन
सिटी स्कैन
लिवर बायोप्सी डॉक्टर मरीज को पीलिया की जांच करवाने के लिए कौन सा टेस्ट करवाने के लिए कहते हैं। यह मरीज की स्थिति, उम्र और बीमारियों के आधार पर होता है।
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पीलिया में क्या खाना चाहिए?- Diet for jaundice in Hindi
डॉ. मिश्रा का कहना है कि अगर किसी व्यस्क को पीलिया होता है, तो उसे अपनी डाइट का खास ध्यान रखना जरूरी है। पीलिया से ग्रसित मरीज को नीचे बताई गई चीजें खानी चाहिए।
फलों का जूस
पर्याप्त मात्रा में पानी
ताजा और शुद्ध भोजन करें
एक साथ खाने की बजाय दिन में 4 से 5 बार खाएं
खाना पकाते समय सब्जियों और बर्तनों को अच्छे से धोएं।
पीलिया जैसी बीमारी में मरीज के आसपास की साफ-सफाई का ध्यान रखना भी बहुत जरूरी है। अगर मरीज गंदगी में रहता है तो इससे पीलिया और भी तेजी से फैलता है और अन्य लोगों को बीमार कर सकता है।
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